अजान और नमाज क्या है पुस्तक | Ajan Aur Namaz Kya Hai Book PDF Download
अजान और नमाज़ के संबंध में अनभिज्ञता के कारण बड़ी भ्रान्तियाँ पाई जाती हैं। यह बात उस समय और अधिक दुखद हो जाती है जब बिना सही जानकारी के लोग इस्लाम की इस पवित्र एवं कल्याणकारी उपासना के संबंध में निसंकोच अनुचित टीका- टिप्पणी कर देते है। यहां तक कि अजान और नमाज क्या है, इसके बारे में वो सही जानकारी प्राप्त करने का कष्ट तक नहीं करते।
इस नीति को अपनानेवाले समाज के अनेक वर्गों के लोग हैं। शिक्षित लोग भी हैं और जन-सामान्य भी बहुत से लोग अज्ञानतावश यह समझते हैं कि अजान में अकबर बादशाह को पुकारा जाता है। कबीरदास जैसे महापुरुष तक ने भी अपनी अनभिज्ञता के कारण अज्ञान के संबंध में यह कहा है : कंकर पत्थर जोर के मस्जिद लिया बनाय । तापे मुल्ला बांग दे, क्या बहरा हुआ ख़ुदाय ॥
आज बहुतसी समस्याओं का मूल कारण एक-दूसरे के बारे में सही जानकारी का न होना है। यह अत्यन्त दुखद स्थिति है कि आज जानकारी हासिल करने के इतने अधिक सुलभ संसाधन उपलब्ध होते हुए भी हम सभ्य एवं शिक्षित कहे जानेवाले लोग परस्पर एक-दूसरे के संबंध में अंधकार में रहते हैं।
अनभिज्ञता और द्वेष के कारण ऐसा भी होता है कि मनुष्य ऐसी बात का दुश्मन हो जाता है जो वास्तव में देखा जाए तो उसके कल्याण के लिए ही है। ऐसा ही कुछ इस्लाम और उसकी शिक्षाओं के साथ हुआ है और निरन्तर आज भी हो रहा है। 'अजान और नमाज क्या है' पुस्तिका में नमाज़ का महत्व और उसका मूल अर्थ बताया गया है।
यह इसीलिए किया जा रहा है ताकि अजान और नमाज क्या है? इसका सही स्वरूप हमारे जनसामान्य के सामने आ सके और इनके संबंध में उनकी सारी गलत भ्रान्तियाँ दूर हो सकें। हमें आशा ही नहीं बल्कि पूर्ण विश्वास है कि इस नमाज़ की व्याख्या में आप अपने दिलों की शान्ति और नेत्रों की ठंढक पाएँगे।
अजान और नमाज़ के संबंध में अनभिज्ञता के कारण बड़ी भ्रान्तियाँ पाई जाती हैं। यह बात उस समय और अधिक दुखद हो जाती है जब बिना सही जानकारी के लोग इस्लाम की इस पवित्र एवं कल्याणकारी उपासना के संबंध में निसंकोच अनुचित टीका- टिप्पणी कर देते है। यहां तक कि अजान और नमाज क्या है, इसके बारे में वो सही जानकारी प्राप्त करने का कष्ट तक नहीं करते।
इस नीति को अपनानेवाले समाज के अनेक वर्गों के लोग हैं। शिक्षित लोग भी हैं और जन-सामान्य भी बहुत से लोग अज्ञानतावश यह समझते हैं कि अजान में अकबर बादशाह को पुकारा जाता है। कबीरदास जैसे महापुरुष तक ने भी अपनी अनभिज्ञता के कारण अज्ञान के संबंध में यह कहा है : कंकर पत्थर जोर के मस्जिद लिया बनाय । तापे मुल्ला बांग दे, क्या बहरा हुआ ख़ुदाय ॥
आज बहुतसी समस्याओं का मूल कारण एक-दूसरे के बारे में सही जानकारी का न होना है। यह अत्यन्त दुखद स्थिति है कि आज जानकारी हासिल करने के इतने अधिक सुलभ संसाधन उपलब्ध होते हुए भी हम सभ्य एवं शिक्षित कहे जानेवाले लोग परस्पर एक-दूसरे के संबंध में अंधकार में रहते हैं।
अनभिज्ञता और द्वेष के कारण ऐसा भी होता है कि मनुष्य ऐसी बात का दुश्मन हो जाता है जो वास्तव में देखा जाए तो उसके कल्याण के लिए ही है। ऐसा ही कुछ इस्लाम और उसकी शिक्षाओं के साथ हुआ है और निरन्तर आज भी हो रहा है। 'अजान और नमाज क्या है' पुस्तिका में नमाज़ का महत्व और उसका मूल अर्थ बताया गया है।
यह इसीलिए किया जा रहा है ताकि अजान और नमाज क्या है? इसका सही स्वरूप हमारे जनसामान्य के सामने आ सके और इनके संबंध में उनकी सारी गलत भ्रान्तियाँ दूर हो सकें। हमें आशा ही नहीं बल्कि पूर्ण विश्वास है कि इस नमाज़ की व्याख्या में आप अपने दिलों की शान्ति और नेत्रों की ठंढक पाएँगे।
पुस्तक | अजान और नमाज क्या है पीडीएफ Ajan Aur Namaz Kya Hai PDF |
लेखक | नसीम गाजी |
प्रकाशक | मधुर संदेश संगम, नई दिल्ली |
भाषा | हिन्दी |
कुल पृष्ठ | 17 |
आकार | 1.4 MB |
फाइल | |
Status | OK |